कोलकाता :कोरोना वायरस के प्रसार के मद्देनजर पश्चिम बंगाल में कलकत्ता उच्च न्यायालय और सभी जिला अदालतों में कामकाज 25 मार्च से नौ अप्रैल तक स्थगित रहेगा। मुख्य न्यायाधीश टी बी एन राधाकृष्णन ने मंगलवार को यह आदेश दिया।
मुख्य न्यायाधीश के आदेश वाले एक पत्र में उच्च न्यायालय के रजिस्ट्रार जनरल राय चट्टोपाध्याय ने कहा कि एक अप्रैल से आठ अप्रैल तक उच्च न्यायालय की एक खंड पीठ और एकल न्यायाधीशों वाली दो पीठ विशेष अदालतों में सुनवाई के लिये बैठेगी।
उच्च न्यायालय के रजिस्ट्रार जनरल ने एक पत्र में कहा, ‘‘केंद्र और राज्य द्वारा जारी विभिन्न परामर्शों, उच्चतम न्यायालय के नोटिसों और पश्चिम बंगाल में पूर्ण बंद की वजह से अदालतों के कामकाज के प्रबंधन में आ रही मुश्किलों के संदर्भ में मुख्य न्यायाधीश ने यह आदेश दिया।’’
इस अवधि के दौरान वाणिज्यिक अदालतों समेत सभी जिला अदालतों में भी कामकाज स्थगित रहेगा।
संबंधित जिला एवं सत्र न्यायाधीशों को निर्देशित किया गया है कि हिरासत के मामलों को देखने के लिये मजिस्ट्रेटों की तैनाती सुनिश्चित करें।
कलकत्ता उच्च न्यायालय, उसकी अन्य पीठ और अधीनस्थ अदालतें प्रदेश और अंडमान एवं निकोबार द्वीप में कोरोना वायरस के खतरे के मद्देनजर 15 मार्च से ही अत्यावश्यक मामलों की सुनवाई कर रही हैं।
पश्चिम बंगाल बार एसोसिएशन के प्रस्ताव के बाद विभिन्न अदालतों में अधिकतर वकील सुनवाई के लिए पेश नहीं हो रहे हैं। बार एसोसिएशन ने मौजूदा स्थिति के मद्देनजर वकीलों से 31 मार्च तक न्यायिक प्रक्रियाओं से दूर रहने को कहा है।
कलकत्ता उच्च न्यायालय, बंगाल की जिला अदालतों का कामकाज 9 अप्रैल तक स्थगित
