कोलकाता : कोयला खनन क्षेत्र में 100 प्रतिशत प्रत्यक्ष विदेशी निवेश की अनुमति के सरकार के फैसले के खिलाफ कोल इंडिया की कर्मचारी यूनियनों ने मंगलवार को एक दिन की हड़ताल पर जाने की घोषणा की है। यूनियनों की हड़ताल से कोल इंडिया का उत्पादन प्रभावित होने की आशंका है। कोल इंडिया लि. और सिंगरेनी कोलियरीज की पांच फेडरेशनों ने 24 सितंबर को हड़ताल का आह्वान किया है। ये यूनियनें करीब पांच लाख कर्मचारियों का प्रतिनिधित्व करती हैं। यूनियनों की मांग है कि सरकार कोयला खनन में एफडीआई की अनुमति के फैसले को वापस ले। आल इंडिया कोल वर्कर्स फेडरेशन के महासचिव डी डी रामानंदन ने कहा, ‘भारतीय मजदूर संघ (बीएमएस) को छोड़कर सभी पांच फेडरेशन मंगलवार की हड़ताल में शामिल होंगी।’ कोल इंडिया का प्रतिदिन का कोयला उत्पादन 20 लाख टन है। देश के कोयला उत्पादन में कोल इंडिया की हिस्सेदारी 80 प्रतिशत है। राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ से संबद्ध बीएमएस ने इस एक दिन की हड़ताल के नोटिस पर दस्तखत नहीं किए हैं। हालांकि, बीएमएस ने सोमवार से 27 सितंबर तक पांच दिन की हड़ताल शुरू की है। कोल इंडिया के अधिकारियों ने कहा कि बीएमएस की हड़ताल के बावजूद सोमवारा को उत्पादन पर किसी तरह का प्रतिकूल असर नहीं पड़ा।
सरकार के एफडीआई पर फैसले के खिलाफ कोल इंडिया के कर्मचारियों की हड़ताल आज
