कोलकाताः पश्चिम बंगाल के राज्यपाल जगदीप धनखड़ ने शनिवार को कहा कि उन्हें उम्मीद है कि राज्य की तृणमूल सरकार उनकी आलोचनात्मक टिप्पणियों पर ध्यान देगी हालांकि ये टिप्पणियां बजट सत्र के आरंभ पर विधानसभा में उनके अभिभाषण का हिस्सा नहीं थीं। हालांकि उन्होंने न तो राज्य में कानून व्यवस्था या विश्वविद्यालयों में विरोध को लेकर अपनी आलोचनात्मक टिप्पणी का जिक्र नहीं किया। राज्यपाल राज्य में विश्वविद्यालयों के कुलाधिपति हैं।धनखड़ ने यहां पत्रकारों से कहा, ‘मुझे यकीन है कि सरकार मेरे साथ बातचीत करने के लिए मेरे सुझावों पर ध्यान देगी कि क्या मैं सही हूं या गलत।’एक कार्यक्रम के बाद धनखड़ ने कहा, ‘राज्य और केंद्र के बीच मैं कोई टकराव नहीं चाहता क्योंकि दोनों एक ही संविधान के अंग है। मसौदा प्राप्त होने के बाद मैंने छह फरवरी को लिखित में अपनी आलोचनात्मक टिप्पणी दी है। ये आलोचनात्मक टिप्पणी कानून व्यवस्था की स्थिति, राज्य के विश्वविद्यालयों और शिक्षा एवं नौकरशाही की भूमिका के संदर्भ में हैं।’शुक्रवार को धनखड़ ने नियम मुताबिक ममता बनर्जी सरकार द्वारा तैयार भाषण को पढ़ने से मना कर विवाद खड़ा कर दिया था।बजट सत्र के शुरू होने से एक दिन पहले धनखड़ ने अपने सुझाव भेजे थे लेकिन तृणमूल सरकार ने भाषण के अंतिम मसौदे को बदलने से मना कर दिया था।
तृणमूल सरकार मेरी आलोचनात्मक टिप्पणियों पर ध्यान देगी- धनखड़
